60+ नाराज दोस्त को मनाने की शायरी

हेल्लो दोस्तों आज के इस पोस्ट में हम आपके साथ नाराज दोस्त को मनाने की शायरी शेयर करने वाले है जिसको पढ़कर आपके फ्रेंड को बहुत अच्छा लगेगा और उसकी नाराजगी दूर हो जाएगी.

लाइफ में अच्छे दोस्त पाना बहुत ही मुश्किल होता है और जब कोई आपको अच्छा दोस्त मिले तो हमेशा उसको खुश रखने की कोशिश करनी चाहिए.

लेकिन कई बार ऐसा होता है की छोटी छोटी बात पर थोड़ी बहुत अनबन हो जाती है जिसकी वजह से आपका दोस्त नाराज हो जाता है.

तो दोस्तों इस पोस्ट में आपके साथ हम अपने रूठे दोस्त को मनाने की शायरी शेयर कर रहे है ताकि आप अपने दोस्त को जल्द से जल्द मना सको तो फिर चलो सीधे इस पोस्ट को स्टार्ट करते है.

नाराज दोस्त को मनाने वाली शायरी

naraz dost ko manane wali shayari

1
दोस्ती में कभी तेरा मेरा नहीं होता
दोस्ती में कभी कोई एक दूसरे से दूर नहीं होता
दोस्ती तो होती है दो दिलों की जान
दोस्ती में कोई एक दोस्त कभी नाराज नहीं होता

2
आज मेरा दोस्त नाराज बैठा है
तो फिर मैं भी कुछ नहीं खाऊंगा
मैं उसके बिना उदास हूं
मैं उसके बिना कहीं घूमने भी नहीं जाऊंगा
जब तक उसकी नाराजगी दूर नहीं करता मैं
तब तक मैं उसे छोड़कर नहीं जाऊंगा

4
मुझे तेरी दोस्ती की कसम है
मुझे अब तेरी कसम है
मेरा भी तुझसे दूर जाने के बारे में सोच नहीं सकता
तू तो मेरा दोस्त है मेरे दिल है मेरी जान है
मैं तुझे कभी तुझसे दूर कर नहीं सकता

5
दोस्ती के बिना तो मैं कुछ भी नहीं हूं
दोस्तों के बिना तो मैं बिल्कुल अधूरा हूं
आज मेरा दोस्त मुझसे नाराज बैठा है
उसके लिए मैं शायरी सुनाता हूं
उसके बिना तो मेरी जिंदगी में कोई उजाला ही नहीं
मैं सिर्फ उसे चाहता हूं

6
दोस्त के बिना तो मेरा कोई वजूद ही नहीं है
दोस्ती है मेरा अपना उसके बिना तो मेरा कुछ भी नहीं है
मैं सिर्फ उसे ही अपना मानता हूं अपना
उसके बिना मेरा इस दुनिया में कोई नहीं है

7
दोस्ती सिर्फ दोस्त से होती है और दोस्त ही अपना होता है
मैं सिर्फ मेरे दोस्त को जानता हूं
मेरा दोस्त मुझे जानता है
उसके बिना हम दोनों का इस दुनिया में कोई नहीं होता है

8
मैं सिर्फ और सिर्फ तुझसे दोस्ती करना चाहता हूं
मैं सिर्फ तुझसे ही दोस्ती निभाना चाहता हूं
तू मेरा दोस्त है इस दुनिया में सबसे अच्छा
मैं हम दोनों की दोस्ती की मिसाल कायम करना चाहता हूं

9
दोस्तों से कभी नाराज नहीं हुआ करता
दोस्त से मैं दूर हुआ नहीं करता
दोस्ती तो दो दिलों को मिलाने का एक मात्र जरिया होता है
दोस्त कभी एक दूसरे दोस्त से नाराज नहीं होता

10
दे दोस्त मुझसे नाराज मत हुआ करो
क्योंकि यह दुनिया मुझसे नाराज हो जाएगी
तो भी मैं शायद सुखी नहीं हो पाऊंगा
पर अगर मेरा दोस्त मुझे छोड़कर चला जाएगा
तो मैं उसके बिना अधूरा हो जाऊंगा

11
तेरी दोस्ती मैंने क्या-क्या नहीं किया
तेरी दोस्ती को ही मैंने खुदा माना है
मैंने तेरे लिए क्या-क्या नहीं किया
फिर भी तुम मुझसे आज नाराज है इस तरह
बता दे यह उदासी की क्या वजह है
क्या मैंने तेरे लिए सब कुछ नहीं किया

12
ए दोस्त मुझसे तेरी उदासी देखी नहीं जाती है
दोस्त तेरी यह उदासी मुझे नहीं भाति
तू ही हमेशा लगता है मुझे अच्छा
तेरे अलावा मुझे किसी और की दोस्ती रास नहीं होती

13
तेरी दोस्ती में ही मैंने जीना सीखा है
तेरी दोस्ती को ही मैंने दिल से अपना माना है
तू मेरा दोस्त है यह मैं जानता हूं
मैंने तुझे ही अपना सब कुछ माना है

14
हम दोनों जब साथ निकलते हैं
तो फिर हर कोई हमारी जोड़ी को देख कर जलते हैं
फिर आज मुझसे दूर क्यों जा रहा है तू
मेरे दोस्त जब हम दोनों को सब इतना प्यार करते हैं

15
जब मेरा दोस्ती मुझसे दूर चला जाएगा
तो फिर मेरे पास भला कौन रह जाएगा
मैं भी फिर इस दुनिया को छोड़ कर चला जाऊंगा
क्योंकि दोस्त के बिना तो मेरा अस्तित्व ही क्या रह जाएगा

16
मैंने सिर्फ तुमसे सच्ची दोस्ती की है
मैंने सिर्फ तुझे ही अपना दोस्त माना है
मैं तुझे भाई की तरह मानता हूं अपना
मैंने तुझे अपना दिलो जान से सब कुछ माना है

17
मैं सब को छोड़कर जाने के लिए तैयार हूं
पर मैं तेरी दोस्ती तोड़ नहीं सकता
मैं सबको छोड़ सकता हूं
पर मैं मेरे दोस्त को अकेला छोड़ नहीं सकता

18
दोस्त नाराज होता है तो फिर यह दुनिया नाराज होती है
और जिसका दोस्त इतना अच्छा होता है
उससे फिर सब खुश होते हैं

19
तेरी दोस्ती पर तुम मुझे नाज है
मैं अपने आप को खुशनसीब मानता हूं
कि तेरे जैसा दोस्त मेरे पास है
पर तेरे चेहरे पर उदासी अच्छी नहीं लगती
क्योंकि तुम मेरे लिए बहुत खास है

20
तेरी दोस्ती को जब तक में अपना नहीं लेता
तेरी दोस्ती को जब तक मैं मान नहीं लेता
तुम मुझे छोड़ कर जा नहीं सकता
और नाराज हो नहीं सकता
जब तक मैं तुझे अपने गले से लगा नहीं लेता

21
जब-जब तू नाराज हुआ है
मैंने तुझे मनाया है मैंने तुझे हमेशा सीने से लगाया है
तू मेरा दोस्त तू मेरी जान है मैंने तेरे लिए सब कुछ किया है
मैंने तेरे लिए एक घर बनवाया है

22
दोस्ती तो दोस्त से ही होती है
और आज मेरा दोस्त ही उदास है
उसके बिना तो मेरा जीवन कुछ भी नहीं है
जब मेरा दोस्त नहीं मेरे पास है

23
मैंने कभी दोस्ती में खुद को तेरे से अलग नहीं किया
मैंने कभी तुझे दुखी नहीं किया
तेरी हर बात मानता हूं मैं
क्योंकि तू मेरा दोस्त है
मैंने कभी तुझको गुस्सा नहीं किया

24
तुझे खुद से दूर कर नहीं सकता
तू मेरा दोस्त है मैं कभी तुझे अकेला छोड़ नहीं सकता
मैं तुझे दिलो जान से अपना मानता हूं अपना
मैं कभी तेरे साथ धोखा नहीं कर सकता

25
तेरी दोस्ती को तो मैंने खुदा माना है
तेरी दोस्ती को ही मैंने अपना सब कुछ माना है
दोस्त नहीं होता है जिंदगी में तो फिर जिंदगी रंगीन नहीं होती मैंने दोस्ती को ही सब रिश्तो से बढ़कर माना है

26
दोस्ती ही मेरी जिंदगी है
दोस्ती ही मेरी जान है
और दोस्ती मेरा ईमान है
मैं दोस्त को ही मानता हूं दिल से अपना
क्योंकि दोस्ती मेरी महफिल की शान है

27
अगर तू ही हमारी महफिल में नहीं आएगा
तो फिर यह दोस्तों का गिरोह एकदम अकेला पड़ जाएगा
हम भी एक दूसरे को छोड़कर चले जाएंगे हमेशा के लिए
फिर कोई भी दोस्त एक दूसरे से कभी मिल नहीं पाएगा

28
तू जानता है हम तुझे कभी खुद से दूर कर नहीं सकते
तू जानता है हम कभी तुझसे नाराज हो नहीं सकते
फिर तू क्यों हमें छोड़कर जा रहा है
जब हम तुझ से कभी दूर हो नहीं सकते

29
तेरी दोस्ती को मैंने किस तरह चाहा है
मैंने तुझे किस तरह अपना माना है
तू भी जानता है मैं तुझे कितना चाहता हूं
मैंने तुझे किस तरह अपनी सब कुछ माना है

30
तू मेरा दोस्त है तू ही मेरी जान है
तू ही मुझे सबसे बढ़कर है
और तुझ पर ही मुझे शान है
तू मेरा दोस्त है यह मैं जानता हूं
हम दोनों की एक दूसरे से पहचान है

31
तू क्या समझता है तू झूठ मूठ का नाटक करेगा
हम तुझे मनाने आ जाएंगे अरे हम तेरे दोस्त हैं
हम तुझे मरते दम तक नहीं छोड़ेंगे
तुझे नरक में भी साथ ही ले जाएंगे

32
दोस्ती का रिश्ता तो दोनों का रिश्ता होता है
दोस्ती यारी में कभी कोई झगड़ा नहीं होता है
दोस्त अगर रुठ भी जाए तो हम उसे मना लेते हैं
दोस्ती में कभी कोई एक दूसरे से अलग नहीं होता है

33
दोस्ती अगर एक दूसरे से अलग हो गए
तो फिर कोई कभी मिल नहीं पाएगा
तू कभी भी किसी से बात नहीं कर पाए
दोस्ती ही सब कुछ होती है अपने लिए दोस्त कभी
एक दूसरे को एक दूसरे से जुदा नहीं कर पाएगा

34
अगर हमने तुमसे दोस्ती की है
तो हम निभाएंगे भी सही
हम तुमसे मोहब्बत करेंगे
और तुम्हें अपना बनाएंगे भी सही

35
दोस्त तू यह दोस्ती तोड़ कर जाने की बात मत किया कर
तू यह दोस्ती में एक दूसरे को लाने की बात मत किया कर
तू चाहे मेरे से नाराज़ रह मानता हूं
पर तू यह नाराज होने की और यह उदास होने की बातें मत किया करो मैं तुझे ही अपना मानता हूं

36
तेरे चेहरे पर उदासी अच्छी नहीं लगती
तू हमारा दोस्त है और तेरे जिंदगी में यह भ्रम अच्छी नहीं लगती तू तो हमारा शान है तू हमारी जान है
तेरे पास ही गम और यह दुखी परेशानियां अच्छी नहीं लगती

37
दोस्त तू जानता है तुम मुझे अच्छे से पहचानता है
मैं तुझे मानता हूं अपना
और तू भी मुझे अपना सब कुछ मानता है
तो फिर हमारे बीच में नाराजगी क्यों है
जब तुम मुझे अच्छे से जानता है

38
दोस्तों में लड़ाइयां हो जाती है दोस्तों में झगड़े हो जाते हैं
हम गुस्से में कुछ भी कह देते हैं
और एक दूसरे से दूर चले जाते हैं
पर इसका मतलब यह नहीं कि
तू मुझसे रिश्ता तोड़ कर चला जाएगा
और यह दोस्ती तो बीच रास्ते में छोड़ कर चला जाएगा

39
दोस्ती में कभी ऐसे नाराज हुआ नहीं करते
दोस्ती में दूसरे से दूर रहा नहीं करते
दोस्ती तो होती है दो अनमोल दिलों का बंधन
दोस्ती में इस तरह एक दूसरे को भुलाया नहीं करते

40
तेरी दोस्ती ही मेरी जान है
तेरे नाम से ही मेरी पहचान है
अगर तू नहीं रहेगा दोस्तों मैं कहां जाऊंगा
तेरे होने से ही तो मेरी शान है

41
दोस्त हम हमेशा ऐसे ही रहेंगे
हम एक दूसरे को ऐसे ही मिलते रहेंगे
बहुत झगड़ा होता है हमारे बीच
पर कभी एक दूसरे से नाराज नहीं होंगे
और हमेशा दोस्ती को ऐसे ही कायम रखेंगे

42
दोस्ती इतनी आसानी से मिल नहीं जाती है
दोस्त इतनी आसानी से मिल नहीं जाता है
दोस्त होता है हमारी जान
उसे कभी भी भुलाया नहीं जाता है

43
मैं तेरी दोस्ती में जीना सीखा है
मैंने तुझे ही अपना माना है तू नाराज क्यों है आज मुझसे
इस तरह मैंने तुझे ही तो अपना भाई माना है

44
तू मेरे लिए मेरे भाई से बढ़कर होता है
तू ही मेरे लिए मेरा सब कुछ होता है
तू नहीं होगा तो फिर मेरा कोई भी नहीं होगा
तू ही मेरी जान तू ही मेरा सारा होता है

45
जब मेरा कोई साथ नहीं देता था तूने मेरा साथ दिया है
तूने हमेशा तेरे हाथ में मेरा हाथ दिया है
मैं हमेशा रहता हूं तेरे पास
तूने हमेशा मुझे अपना बना कर रख रहा है

46
जिंदगी हमेशा ऐसे ही चल जाएगी
जिंदगी हमेशा ऐसे ही गुजर जाएगी
कोई नहीं होता है किसी के पास
और यह दुनिया ऐसे ही किसी और के पास आ जाएगी

47
अगर तुम मुझसे इसी तरह नाराज रहेगा
तो फिर मैं भी तुझे छोड़ कर चला जाऊंगा
अपना यह दोस्ती का रिश्ता तोड़ कर चला जाऊंगा
फिर तू कोई और नया दोस्त बना लेना
मैं तेरे पास कभी वापस नहीं आऊंगा

48
तेरी दोस्ती मेरा ईमान है
तेरी दोस्ती मेरा सब कुछ है
तेरी दोस्ती में ही मैंने जीना सीखा है
तेरी दोस्ती मेरी जिंदगी की हकीकत है

49
तेरी दोस्ती में ही मैं जिया हूं
तेरी दोस्ती में ही मैं सब कुछ किया हूं
तेरी दोस्ती ही तो चाहता हूं मैं हमेशा
तेरी दोस्ती में ही मैंने सब कुछ सहा हूं

50
दोस्त तो दोस्त होता है
वह इस तरीके से नाराज रह नहीं सकता
दोस्ती हमारी दुनियां होता है
वह हमसे इस तरीके से दूर जा नहीं सकता

51
तेरा जैसा दोस्त भगवान ने मुझे दिया है
मैं अपने आप को खुशनसीब मानता हूं
तू मेरा दोस्त है इसीलिए तो मैं तेरे नाम से जानता हूं

52
मैं कभी किसी को अपना नहीं कहा है
पर तेरी दोस्ती को मैंने हमेशा अपना माना है
कॉलेज के दिन हो चाहे बाहर जाना हो
मैंने हमेशा तुझे ही अपने साथ माना है
तू कि नाराज हो जाएगा मुझसे
तो फिर मेरा इस दुनिया में कौन रहेगा
मैंने तुझे ही तो अपना भाई
अपने दोस्ती की मिसाल माना है

53
यह दोस्त हमेशा तेरा साथ दूंगा
तेरे साथ छोड़कर कभी नहीं जाऊंगा
बस तू हमेशा मेरे साथ रहना
इस तरीके से मुझे कभी धोखा मत देना
अपनी नाराजगी मत जताना इस तरह
जिस तरह आज जता रहा है
और हमेशा मेरा साथ देना जैसे हमेशा दिया है

54
दोस्ती जब नाराज होता है तो फिर दुनिया हमसे रुठ जाती है
हम कितना भी मनाने कि उसे कोशिश कर ले
सारी कोशिशें पीछे छूट जाती हैं
इसीलिए दोस्ती में कभी एक दूसरे से नाराज भी नहीं होती दोस्ती चाहे कैसी भी हो दोस्ती में कभी भी लड़ाई नहीं होती

55
दोस्तों मेरे से कभी लड़ाई मत करना
दोस्तों मेरे से कभी दूर मत जाना
तेरी दोस्ती में ही मैंने अपना सब कुछ सीखा है
तू मुझसे हमेशा रिश्ता निभाना

56
तेरी दोस्ती की ही में मिसाल दिया करता हूं
तेरी दोस्ती को ही मैं अपना सब कुछ माना करता हूं
तेरी दोस्ती में ही मैंने सब कुछ सीखा है
मैं तेरी दोस्ती को ही अपना दिल माना करता हूं

57
आज मेरा दोस्त मुझसे नाराज है
तो फिर मुझसे कोई भी बात नहीं करता है
यह पूरी दुनिया मुझसे नाराज होती है
और मैं भी उदास होता हूं
इसीलिए मैं दोस्त अपनी नाराजगी छोड़ देना
और अपने भाई से बात कर ले और उसे गले से लगा लेना

58
तेरी दोस्ती ही मेरा इमान होती है
मैं तेरी दोस्ती को ही अपना मानता हूं
तेरी दोस्ती से ही जाना चाहता हूं मैं
और तुझे ही अपने सीने से लगाता हूं मैं

59
मैंने तो अभी भी तेरे खिलाफ जाने की कोशिश नहीं की
मैंने कभी भी मुझसे दूर जाने की कोशिश नहीं की
फिर तू क्यों आज नाराज है मुझसे इस तरह
मैंने कभी भी तेरे सिवा किसी को मनाने की कोशिश नहीं की

60
ए दोस्त तू मुझसे नाराज मत हुआ कर
दोस्तों मुझसे दूर मत जाया कर
तू ही मेरी जिंदगी है
तू मुझे इस तरीके से मत भुलाया कर

61
तेरी दोस्ती चलाओ मैंने कुछ नहीं चाहा है
तेरी दोस्ती के अलावा मैंने किसी से कुछ मांगा नहीं है
तू ही मेरा दोस्त है यह जानता हूं मैं
तेरे अलावा मैंने किसी और को दोस्त बनाया नहीं है

62
मैं तेरी दोस्ती की मिसाल देता हूं
मैं तेरी दोस्ती को ही दिल में रखता हूं
मैं तुझे ही मानता हूं अपना
और तुझे अपने दिल में बसा कर रखता हूं

63
हे दोस्तों कभी मुझे छोड़कर मत जाना
मुझसे कभी भी रिश्ता तोड़ कर मत जाना
मैंने हमेशा तुझे माना है अपना
तो कभी भी मुझे मेरे अलावा किसी और से दिल मत लगाना

64
तेरी नाराज नाराजगी वजह तो बताया कर
मुझे तू अपनी नाराजगी की वजह तो समझाया कर
फिर तू क्यों नाराज है मुझसे इस तरह
तेरे नाराज होने का कारण तो तुम मुझे बताया कर

65
तेरी नाराजगी बेवजह तो हो नहीं सकती
शायद मेरे से कोई गलती हुई है
पर दोस्तों में ही गलती होती है
तो मुझे माफ कर देना
मैं भी तो तेरा दोस्त हूं
आजा जल्दी से गले जा
और फिर से मुझसे दोस्ती कर लेना

66
दोस्ती अगर नाराज हो जाएगा
तो फिर कौन मेरे पास आएगा
मैं तो किसी का भी नहीं रहूंगा
कौन मुझे अपने पास बुलायागा
मेरा तो इस दुनिया में तेरे सिवा कोई नहीं है ए दोस्त
मुझे कौन अपना बना पाएगा

67
दोस्त तू मेरे से कभी नाराज मत रहा कर
दोस्त तू इस तरह उदास मत रहा कर
तेरे अलावा मेरा इस दुनिया में कोई नहीं है
ए दोस्तों मुझे इस तरह कभी भी दूर मत रहा कर

68
तेरी दोस्ती अगर नहीं होगी
तो फिर मैं किसके पास जाऊंगा
तेरे अलावा मैं किसे अपना बना पाऊंगा
तू ही तो दोस्त है मेरा तेरे बिना मैं पल भी रह नहीं सकता
मैं तेरे बिना इस दुनिया में कैसे जी पाऊंगा

69
दोस्ती ही हमारे दिल की धड़कन होती है
दोस्ती ही हमारी जान होती है
दोस्तों के बिना इस दुनिया में कुछ नहीं होता
दोस्ती ही हमारी पहचान होती है

70
तेरी दोस्ती के अलावा तो मैंने किसी को अपना मना नहीं है
तेरी दोस्ती के अलावा किसी को मैंने अपनी समझा नहीं है
तू ही मुझसे नाराज रहना इस तरह
तो फिर मैं अंदर से टूट जाऊंगा
तेरे अलावा मेरा इस दुनिया में कौन है
मैं तेरा साथ हमेशा के लिए छोड़ जाऊंगा

71
दोस्त मेने अभी भी तेरा बुरा नहीं चाहा है
मैंने हमेशा तेरा अच्छा चाहा है
मैंने हमेशा तेरा ही तेरी बात मानी है
जो तूने कहा है वह मैंने किया है
और सही गलत का फर्क बताया है

72
गलत रास्ते पर चलने से कुछ भी नहीं होता है
हमें इतनी आसानी से मंजिल नहीं मिलती है
मैंने तुझे रोका क्योंकि तू मेरा दोस्त है
पर अगर तुझे इस बात पर जो दिल में आए कर सकता है
तो मुझसे रिश्ता तोड़ कर किसी और से दोस्ती निभा सकता है

73
दोस्ती तो दिलों में बसती है दोस्ती तो हमारी जान होती है
दोस्ती ही हमारा ईमान होती है
दोस्ती के बिना इस दुनिया में कुछ नहीं हो सकता
दोस्ती हमारी सब कुछ होती है

74
दोस्ती तो दिलों का तोहफा होती है
जो खुदा का दिया हुआ होती है
खुदा ने भी दोस्ती की थी मित्रता निभाने के लिए
इसीलिए दोस्ती का रिश्ता बनाया है
क्योंकि सब छोड़ कर चले जाते हैं
एक दोस्त ही ने मुझे अपनाया है

75
तेरी दोस्ती को ही मैं दिल से लगा कर रखना
तेरी दोस्ती को ही मैं अपना बना कर रखना
तेरी दोस्ती में ही मेरा सब कुछ माना है
मैं तेरे दोस्त को मेरा बना कर रखना

76
दोस्ती में मैंने तुझे ही सब कुछ माना है
तू ही मेरा दोस्त है मैंने तुझे ही दिल से पहचाना है
तेरी दोस्ती ही रहती है हमेशा मेरे दिल में
मैंने तुझे अपना सब कुछ माना है

77
तेरी दोस्ती तो मैं कभी खुद से दूर होने नहीं दूंगा
मैं तेरी दोस्ती को कभी बदनाम होने नहीं दूंगा
तू दोस्त है मेरा ही जानता हूं मैं
इसीलिए मैं तुझे कभी नाराज होने नहीं दूंगा

78
जब जब तुझे मेरी जरूरत पड़ी है मैं आया हूं
मैंने तेरा साथ हमेशा निभाया हूं
तूने जो जो कहा वह मैंने तुझे दिया है
मैंने दोस्ती का हर फर्ज अदा किया है

79
तेरी नाराजगी की वजह तो मैं नहीं जानता
पर मैं तेरी नाराजगी को दूर भी नहीं कर सकता
कि तू मेरा दोस्त है इससे ज्यादा तो मैं तुझे कुछ बता नहीं सकता।।

80
शायद तू खुदगर्जी निकला
तूने पैसे लिए और भूल गया
मैंने जब तुझसे मांगे तो फिर तू नाराज हो गया
दोस्ती में यह सब नहीं होता है
दोस्ती तो दो दिलों का मेल होता है
इसमें पैसों का कोई झोलझाल नहीं होता है

81
अरे तुझे कुछ चाहिए तो तुम मुझसे कह सकता है
मैं बिना कोई सवाल करे तुझे दे दूंगा
पर तुम मुझसे इस तरह नाराज मत रह
वरना फिर मैं तुझे छोड़कर कहीं चल दूंगा

82
दोस्ती ही महान होती है दोस्ती ही सब कुछ होती है
दोस्त के बिना तो इस दुनिया में पत्ता भी नहीं होता
यह दोस्त तुम मेरी हमेशा से जान होती है

83
दोस्ती में तो अच्छे अच्छों के सर झुक जाते हैं
दोस्ती में तो लोग हमेशा के लिए मिल जाते हैं
इस दोस्ती ही ऐसा रिश्ता होता है जो कभी धोखा नहीं देता वरना आजकल तो अपने भी छोड़ कर चले जाते हैं

84
दोस्ती में जिंदगी होती है दोस्ती ही अपनी होती है
दोस्ती के बिना यह जहां कभी एक दूसरे से मिल नहीं सकता
दोस्ती इसलिए हमारी दिलों की धड़कन हमारी जान होती है

85
मैं तुम्हें अपना दोस्त माना
मैंने तुम्हें अपना सब कुछ माना है
कि तुम्हें जिंदगी दी है मैंने तुम्हें अपना माना है

86
दोस्ती में तो मैंने कभी सोचा ही नहीं था
कि एक ऐसा दिन भी आएगा
मेरा दोस्ती मुझसे नाराज हो जाएगा
मैं उसे इतना मना लूंगा और वह फिर भी नहीं मानेगा
और मैं उससे एक दिन दूर चला जाऊंगा

87
अगर तू मेरी थोड़ी सी भी फिक्र करता है
अगर तू थोड़ी सी भी मेरी केयर करता है
तो फिर तुझे समझना होगा
तुझे मुझसे दूर नहीं जाना होगा
तुझे हमेशा मेरे पास ही रहना होगा

88
मैं तुझे अपना मानता हूं
मैं तुझे ही सदियों से जानता हूं
तू मेरा दोस्त है और तू मेरा दोस्त ही रहेगा
मैं तेरी दोस्ती को ही अपना सब कुछ मानता हूं

89
हमारा तो शायद कोई पिछले जन्म का रिश्ता रहा होगा
हमारा तो शायद मेल मिला रहा होगा
मैंने तुझे ही तो माना है सब कुछ इस दुनिया में
शायद हमारा पहले से ही कोई बंधन रहा होगा

90
दोस्ती में तो कभी मुझे छोड़कर मत जाना
दोस्ती में तो कभी मेरा दिल तोड़ कर मत जाना
मैंने तुझे दोस्त माना है अपना यह तो याद रखना
तू मुझे बीच रास्ते में छोड़कर मत जाना

91
आज अगर तू नाराज है तो मैं भी कल नाराज हो जाऊंगा
फिर तुम बनाए जाने के लिए पास कभी नहीं आऊंगा
अब तू सोच ले तुझे क्या करना है मेरे पास रहना है
या फिर नाराज होना और मुझसे दूर चला जाना है।।

92
बेवजह तू मुझसे लड़ता है
बेवजह तू मुझसे नाराज हो जाता है
मैंने दोस्ती का फर्ज अदा किया है
फिर तू किस बात पर इतना उखड़ जाता है

93
हम दोनों दोस्त हैं हम दोनों की खुशनसीबी है
क्योंकि ऐसे दोस्त किसी को नहीं मिलते
मैं तेरा दोस्तों हूं ये तेरी खुशनसीबी है
क्योंकि इतना अच्छा इंसान किसी को नहीं मिलता

94
अगर तू मेरी थोड़ी सी भी कदर करता है
अगर तुम्हारी किसी की इज्जत रखता है
तो पर इस तरह नाराज होकर मत रहना
अगर तु इस दोस्ती को थोड़ा सा भी प्यार करता है

95
दोस्ती की दोस्ती होती है
दोस्ती की तो हमारी होती है
दोस्ती में तेरा मेरा कुछ नहीं होता
दोस्ती तो हमारी जान होती है

96
अगर दोस्ती में मैंने तुझे पराया कर दिया
तो फिर तू मेरा भी नहीं रहेगा
तो किसी और का भी नहीं रहेगा
मैं तुझे अपना नहीं मानता चल जा
आज से तू नाराज है तो फिर तू मेरा दोस्त नहीं रहेगा

97
मैंने सोचा नहीं था एक दिन ऐसा भी आएगा
तू मुझे छोड़कर जाने की बात कह जाएगा
और मुझसे नाराज हो जाएगा
मैं तुझे मनाता रह जाऊंगा पर तू मानेगा ही नहीं
और मुझसे दूर चला जाएगा

98
इतनी नाराजगी तो मुझसे सहन होती नहीं है
तू दूर चला जाता है मेरे दिल को यह बात सहन होती नहीं है
तू हमेशा मेरे पास रहा कर ना
तेरे बिना मेरी शाम हसीन होती नहीं है

99
यह तो तू भी जानता है यह तो तू ही मानता है
तू ही मेरा दोस्त है यह तू भी जानता है
मैंने तुझे ही माना है सदियों से अपना
इस बात को तू भी समझता है
और तू भी दिल से मानता है

100
अगर मुझसे कोई गलती हो गई तो बताना
मैंने तुझे क्या कर दिया यह भी मुझे बताना
मैं खुद दे दूंगा अपने आप को सजा
तु एक बार मेरी खता तो बताना

101
ए दोस्त मैंने कभी भी तेरा बुरा नहीं चाहा है
मैंने हमेशा ही तेरा भला चाहा है
अगर मेरी किसी बात से तुझे दुख हुआ है
तो मैं माफी मांगता हूं
मैंने तो हमेशा तुझे प्यार से ही समझाना चाहा है

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निष्कर्ष:

तो दोस्तों ये था नाराज दोस्त को मनाने की शायरी, हम उम्मीद करते है की आपको ये सभी शायरी अच्छी लगी होगी. अगर आप अपने रूठे दोस्त को मनाना चाहते हो तो उसके साथ ये शायरी को जरुर शेयर करे और फिर देखना की उसका गुस्सा कैसे दूर हो जाता है.

पोस्ट अच्छी लगे तो १ लाइक जरुर करे और अपने फ्रेंड्स के साथ भी शेयर करे धन्येवाद.

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